मार्क्सवादी नेता अनुरा कुमारा दिसानायके बने श्रीलंका के नए राष्ट्रपति

Marxist Leader Anura Kumara Dissanayake Becomes Sri Lanka's New President
Marxist Leader Anura Kumara Dissanayake Becomes Sri Lanka’s New President

मार्क्सवादी नेता अनुरा कुमारा दिसानायके ने श्रीलंका के राष्ट्रपति चुनाव में जीत हासिल की, जिसमें उन्होंने 42.31 प्रतिशत वोट प्राप्त किए। यह परिणाम रविवार को आधिकारिक रूप से घोषित किए गए।

55 वर्षीय अनुरा कुमारा दिसानायके पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट (JVP) के नेता हैं, जो एक वामपंथी गठबंधन है। उनकी जीत को देश में राजनीतिक परिवर्तन और उस व्यवस्था के खिलाफ एक संकेत माना जा रहा है जिसे श्रीलंका की आर्थिक गिरावट के लिए जिम्मेदार ठहराया गया था। 2019 के राष्ट्रपति चुनाव में केवल 3 प्रतिशत वोट प्राप्त करने वाली उनकी पार्टी के लिए यह जीत एक बड़ी कामयाबी है।

चुनाव परिणाम और राजनीतिक परिदृश्य

शनिवार को हुए चुनाव में 76 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। श्रीलंका में 17 मिलियन योग्य मतदाता थे।

विपक्षी नेता साजिथ प्रेमदासा को 32.76 प्रतिशत वोट मिले और वे दूसरे स्थान पर रहे। वहीं, रानिल विक्रमसिंघे, जो कि श्रीलंका की 2022 की आर्थिक स्थिति के दौरान राष्ट्रपति थे, 17.27 प्रतिशत वोट के साथ तीसरे स्थान पर खिसक गए।

आर्थिक संकट और IMF सौदा

विक्रमसिंघे के नेतृत्व में सरकार ने देश के 2.9 बिलियन डॉलर के IMF बेलआउट के तहत कठिन आर्थिक सुधार किए थे, जिसमें टैक्स में बढ़ोतरी और सामाजिक खर्चों में कटौती शामिल थी। हालांकि, इन नीतियों ने जनता के बीच भारी असंतोष पैदा किया, जिससे गरीबी दर दोगुनी हो गई और जीवन यापन की लागत आसमान छू गई।

दिसानायके की चुनावी रणनीति ने इसी असंतोष को भुनाते हुए, IMF के सौदे की पुनर्विचार का वादा किया, ताकि आम नागरिकों पर आर्थिक बोझ कम किया जा सके। उनकी पार्टी के वरिष्ठ सदस्य बिमल रत्नायके ने कहा, “यह एक बाध्यकारी दस्तावेज़ है, लेकिन इसे पुनः बातचीत के माध्यम से सुधारा जा सकता है।”

चुनाव के बाद सुरक्षा और प्रतिबंध

शनिवार के चुनाव शांतिपूर्ण रहे, लेकिन अधिकारियों ने एहतियात के तौर पर रविवार दोपहर तक कर्फ्यू लगाया था। हजारों पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था, हालांकि कोई बड़ा हादसा नहीं हुआ। अधिकारियों ने घोषणा की कि अंतिम परिणामों के एक सप्ताह तक विजय रैलियों या सार्वजनिक उत्सव पर प्रतिबंध रहेगा।

आर्थिक स्थिति और भविष्य की चुनौतियां

श्रीलंका की अर्थव्यवस्था अभी भी 2022 के ऋण डिफॉल्ट के बाद से संघर्ष कर रही है, हालांकि हाल ही में कुछ सुधार देखे गए हैं। सरकार ने पिछले हफ्ते घोषणा की थी कि उसने $17 बिलियन के कर्ज के पुनर्गठन के लिए एक समझौता किया है। इसके बावजूद, देश में उच्च कर और बढ़ती जीवन यापन की लागत को लेकर जनता में आक्रोश बना हुआ है, जो दिसानायके की जीत का मुख्य कारण रहा।

दिसानायके की पार्टी ने भारत को आश्वस्त किया है कि उनके नेतृत्व वाली कोई भी सरकार श्रीलंका को चीन और भारत के बीच के भू-राजनीतिक संघर्ष में नहीं उलझाएगी, जो देश का सबसे बड़ा ऋणदाता है।

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