हेमंत सोरेन केस की पूरी टाइमलाइन: समन, पूछताछ, लापता, इस्तीफा, गिरफ्तारी और जमानत

झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को आज झारखंड हाईकोर्ट से जमानत मिल गई। वे पिछले पांच महीने से जमीन घोटाला मामले में जेल में बंद थे। उनकी गिरफ्तारी 31 जनवरी को रांची से हुई थी। सोरेन की रिहाई के तुरंत बाद, प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। आइए, जानते हैं इस मामले की पूरी टाइमलाइन।

अगस्त 2023 से शुरू हुआ समन और पूछताछ का सिलसिला

8 अगस्त 2023: जमीन घोटाला मामले में ईडी ने हेमंत सोरेन को पहली बार पूछताछ के लिए समन जारी किया।
14 अगस्त 2023: सोरेन ने ईडी से समन वापस लेने की मांग की और कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी।
11 दिसंबर 2023: ईडी ने नया समन जारी कर 12 दिसंबर को पूछताछ के लिए बुलाया।
16 जनवरी 2024: आठवें समन के बाद सोरेन ने 20 जनवरी को अपना बयान दर्ज करवाने की बात कही।
20 जनवरी 2024: ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सोरेन का बयान दर्ज किया।
23 जनवरी 2024: ईडी ने फिर से समन जारी किया और 27 से 30 जनवरी के बीच पूछताछ के लिए उपस्थित रहने को कहा।
26 जनवरी 2024: सोरेन ने जल्द ही समन का जवाब देने की बात कही।
29 जनवरी 2024: ईडी ने सोरेन के दिल्ली आवास पर छानबीन की। इस दौरान सोरेन दो दिनों तक ‘लापता’ रहे और बाद में रांची में विधायकों की बैठक में दिखे।

गिरफ्तारी, इस्तीफा और कानूनी लड़ाई

30 जनवरी 2024: सोरेन ने विधायकों से समर्थन पत्र पर हस्ताक्षर कराए और भाजपा के आरोपों को खारिज किया।
31 जनवरी 2024: ईडी ने सोरेन को हिरासत में लिया और लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार किया। सोरेन ने राज्यपाल को इस्तीफा दिया।
4 फरवरी 2024: सोरेन ने जमानत के लिए झारखंड हाईकोर्ट में याचिका दायर की। अदालत ने 28 फरवरी को फैसला सुरक्षित रख लिया।
3 मई 2024: हाईकोर्ट ने सोरेन की जमानत अर्जी खारिज कर दी।
7 मई 2024: सुप्रीम कोर्ट में सोरेन की याचिका पर सुनवाई शुरू हुई।
22 मई 2024: सुप्रीम कोर्ट ने लोकसभा चुनाव के मद्देनजर सोरेन को प्रचार के लिए अंतरिम जमानत देने से मना कर दिया।
27 मई 2024: सोरेन ने फिर से झारखंड हाईकोर्ट में जमानत के लिए याचिका दायर की।
13 जून 2024: हाईकोर्ट ने जमानत याचिका पर सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया।

अंतिम फैसला और रिहाई

28 जून 2024: झारखंड हाईकोर्ट ने हेमंत सोरेन को जमानत दे दी। कोर्ट के आदेश के बाद उन्हें रांची जेल से रिहा कर दिया गया। उनकी रिहाई के बाद ईडी ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है, जिससे भविष्य में नए घटनाक्रम की संभावना है।

यह केस झारखंड की राजनीति और कानूनी कार्रवाई का महत्वपूर्ण अध्याय बन चुका है, जिसमें हेमंत सोरेन के संघर्ष और कानूनी लड़ाई को विस्तार से देखा जा सकता है।