झारखंड: झारखंड स्टेट सर्विस कमीशन (JSSC) द्वारा आयोजित कॉमन ग्रेजुएट लेवल एग्जाम (CGL) में कथित गड़बड़ी की जांच के लिए जेएसएससी ने एक 3 सदस्यीय कमेटी का गठन किया है। यह आदेश 27 सितंबर को जारी किया गया, और कमेटी ने तुरंत काम शुरू कर दिया है। आयोग ने दो कोचिंग संचालक समेत 6 लोगों को नोटिस जारी कर कहा है कि उन्हें आयोग के कार्यालय में आकर अपनी स्थिति स्पष्ट करनी होगी और जांच में सहयोग करना होगा।
कमेटी का गठन
कमेटी की अध्यक्षता जेएसएससी के सचिव सुधीर कुमार गुप्ता करेंगे। इस कमेटी में दो अन्य सदस्य भी शामिल हैं: आयोग की संयुक्त सचिव मधुमिता कुमारी और उप-सचिव सह परीक्षा नियंत्रक अरविंद कुमार लाल।
जांच की समय सीमा
जेएसएससी ने कहा है कि यह टीम एक सप्ताह के भीतर CGL 2023 परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायतों की जांच करेगी और अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी। छात्र संगठनों और मुख्य विपक्षी पार्टी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायत की थी, जिसमें झारखंड के नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी ने नौकरी बेचने के आरोप लगाए थे।
पुस्तिका में दिए गए नोटिस
कमेटी ने 30 सितंबर को पूछताछ के लिए 6 लोगों को बुलाया है, जिनमें 2 कोचिंग संचालक और 4 जेजीजीएलसीसीई 2023 के अभ्यर्थी शामिल हैं। इन लोगों को एक चिट्ठी भेजी गई है जिसमें बताया गया है कि उन्होंने 26 सितंबर 2024 को झारखंड सामान्य स्नातक योग्यताधारी संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा-2023 के संबंध में शिकायतें की हैं। उन्हें अपनी स्थिति स्पष्ट करने और जांच में सहयोग करने के लिए 30 सितंबर को आयोग के कार्यालय में उपस्थित होने का निर्देश दिया गया है।
राज्यपाल का हस्तक्षेप
जेएसएससी सीजीएल 2023 की परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायतों को पहले जेएसएससी के अध्यक्ष प्रशांत कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में खारिज कर दिया था। राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने शिकायतों के आधार पर सरकार से कहा था कि जेएसएससी की विश्वसनीयता बनी रहनी चाहिए और इसलिए इसकी जांच कराई जानी चाहिए।
आगे की कार्रवाई
कमेटी की जांच के परिणाम के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी, और अगर गड़बड़ी के सबूत मिले, तो परीक्षा को रद्द करने की संभावना भी है।