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स्वतंत्रता दिवस पर भाषण: 15 अगस्त 1947

Published on August 4, 2024 by Vivek Kumar

[caption id="attachment_9023" align="alignnone" width="1200"]Speech on Independence Day 15 August 1947 Speech on Independence Day 15 August 1947[/caption] आदरणीय प्रधानाचार्य, शिक्षकों, यहां उपस्थित सभी अतिथि महोदय और मेरे प्यारे साथियों, सर्वप्रथम, मैं आप सभी को 78वें स्वतंत्रता दिवस की ढेरों शुभकामनाएं देता हूँ। आज हम सभी मिलकर देश के 78वें स्वतंत्रता दिवस का जश्न मना रहे हैं। पूरा देश आजादी की इस वर्षगांठ को हर्ष और उल्लास के साथ मनाता है। इस वर्ष भारत सरकार ने 'राष्ट्र पहले, हमेशा पहले' थीम के तहत स्वतंत्रता दिवस मनाने का निर्णय लिया है। इस ऐतिहासिक अवसर पर, सरकार कई कार्यक्रमों का आयोजन कर रही है, जो स्वतंत्रता आंदोलन की संघर्षमयी झलक और उसकी भावना को दर्शाएंगे। 15 अगस्त 1947, वह दिन जब हमारे देश को ब्रिटिश साम्राज्य की 200 वर्षों की गुलामी से मुक्ति मिली। इस दौरान देश पर हुए अत्याचारों और कुप्रबंधन के खिलाफ सैंकड़ों स्वतंत्रता सेनानियों ने अपने प्राणों की आहुति दी। आज का दिन उन महान स्वतंत्रता सेनानियों की शहादत को याद करने का दिन है जिन्होंने देश को आजाद कराने के लिए अपने जीवन की परवाह नहीं की। महात्मा गांधी, सुभाष चंद्र बोस, भगत सिंह, मंगल पांडे, राजगुरु, सुखदेव, जवाहरलाल नेहरू, लाला लाजपत राय, और बाल गंगाधर तिलक जैसे अनेक क्रांतिकारियों ने इस संघर्ष में महत्वपूर्ण योगदान दिया। इस दिन हम इन सभी नायकों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर, देशभर में राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराया जाता है। दिल्ली के लाल किले पर प्रमुख कार्यक्रम आयोजित होता है, जहां प्रधानमंत्री देशवासियों को संबोधित करते हैं और तिरंगा झंडा फहराते हैं। 31 तोपों की सलामी दी जाती है और सेनाओं की टुकड़ियां प्रधानमंत्री को सलामी देती हैं। इस समारोह में सेना के बैंडों की धुनें और प्रदर्शन मन को छू लेने वाले होते हैं। 15 अगस्त का यह दिन हर साल हमसे यह प्रेरणा लेता है कि हम स्वतंत्रता की कीमत समझें और राष्ट्र के प्रति अपनी जिम्मेदारियों को निभाएं। यह दिन हमें यह भी याद दिलाता है कि हमें अपने देश की उन्नति और सुरक्षा के प्रति हमेशा समर्पित रहना चाहिए। आइए, हम राष्ट्र ध्वज को नमन करें और देश के विकास और सुरक्षा के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दोहराएं। मेरे भाषण को समाप्त करते हुए, मैं एक छोटी सी पंक्ति कहना चाहूंगा: उन्नति पथ पर चक्र अनवरत, चलता हुआ न ठहरे, फर-फर करता शुभ्र गगन में, सदा तिरंगा लहरे। जय हिंद! जय भारत! भाषण तैयार करते समय ध्यान रखने योग्य बातें:
  • भाषण को संक्षिप्त और प्रभावशाली बनाएं।
  • तथ्यपूर्ण जानकारी को सुनिश्चित करें और भाषण को पूर्वाभ्यास करें।
  • आईने के सामने अभ्यास करें और रिकॉर्डिंग करके सुधार करें।
  • श्रोताओं से आंखों का संपर्क बनाएं और स्वाभाविक तरीके से भाषण दें।
  • मंच पर सहजता से जाएं और तनावमुक्त रहें।
स्वतंत्रता दिवस की ढेरों शुभकामनाएं!

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