केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआइ) ने शुक्रवार को नीट पर्चाफोड़ मामले में झारखंड के रांची स्थित राजेंद्र इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंसेज (रिम्स) की एक छात्रा को गिरफ्तार किया है। आरोपी एमबीबीएस प्रथम वर्ष की छात्रा है और उस पर चुराए गए प्रश्नपत्र को हल करने का आरोप है। जांच एजंसी ने दो दिन तक विस्तृत पूछताछ के बाद आरोपी के खिलाफ यह कार्रवाई की है। सीबीआइ का दावा है कि आरोपी छात्रा प्रश्नपत्र हल करने वाले उस गिरोह की सदस्य है, जो प्रश्नपत्र चुराने वाले एक अन्य आरोपी के साथ काम कर रहा था। अधिकारियों ने बताया कि आरोपी छात्रा सुरभि कुमारी प्रश्नपत्र हल करने वाले गिरोह की पांचवीं सदस्य थी। वह पांच मई की सुबह नीट-यूजी परीक्षा के दिन मुख्य आरोपी पंकज कुमार द्वारा चुराए गए प्रश्नपत्र को हल करने के लिए हजारीबाग में मौजूद थी। पंकज कुमार उर्फ आदित्य नेशनल इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलाजी जमशेदपुर के 2017-बैच का सिविल इंजीनियर है। उसी ने कथित तौर पर हजारीबाग में एनटीए के ट्रंक से नीट-यूजी का प्रश्नपत्र चुराया था। सीबीआइ इस मामले में अब तक 16 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है। सूत्रों के मुताबिक, सीबीआइ ने रांची रिम्स से इस सप्ताह की शुरुआत में पूछताछ के लिए संपर्क किया था। रिम्स की ओर से जारी बयान में कहा गया कि सीबीआइ की टीम ने बुधवार को अस्पताल प्रबंधन से संपर्क किया और कहा कि वे नीट-यूजी पर्चाफोड़ के संबंध में पूछताछ करना चाहती है। रिम्स के पीआरओ राजीव रंजन ने बताया कि आरोपी छात्रा के माता-पिता ने प्रबंधन से संपर्क किया था और उन्हें स्थिति के बारे में जानकारी दी गई थी। इससे पहले सीबीआइ ने गत गुरुवार को एम्स पटना के चार एमबीबीएस छात्रों को गिरफ्तार किया था, जो कथित तौर पर प्रश्नपत्र हल करने वाले गिरोह के सदस्य थे। सूत्रों के अनुसार, इन पांच सदस्यों को प्रश्नपत्र हल करने का काम सौंपा गया था, ताकि नीट उम्मीदवारों को उत्तर कुंजी प्रदान की जा सके। सीबीआइ ने प्रश्नपत्र चुराने वाले पंकज कुमार और इस प्रक्रिया में उसकी मदद करने वाले राजू सिंह को पहले ही गिरफ्तार कर लिया था। जांच एजंसी ने गत गुरुवार को सुरेंद्र शर्मा नाम के एक व्यक्ति को भी गिरफ्तार किया था, जिसने हजारीबाग में पंकज की मदद की थी।